सुरक्षा बल के जवानों ने नक्सल स्मारक के सामने फहराया तिरंगा
1 min read
Share this
बीजापुर। जिले के मुतवेण्डी गांव में हुई मुठभेड़ के दौरान क्रॉस फायरिंग में एक दुधमुंही बच्ची मंगली की मौत हो गई थी। नक्सल प्रभावित इसी ग्राम मूतवेंदी के अंदरूनी इलाके में 26 जनवरी को सुरक्षा बल के जवानों ने नक्सल स्मारक के सामने तिरंगा फहराया। इस ध्वजारोहण में स्थानीय बच्चे और ग्रामीण भी शामिल होकर भारत माता की जय के नारे लगाकर तिरंगे का सम्मान किया। शनिवार को इसका विडियो सोशल मीडिया में जारी किया गया है। यह ज्ञात नही हुआ है कि सुरक्षा बल के जवानों ने नक्सल स्मारक को ध्वस्त किया या नही।
उल्लेखनीय है कि जिले के मुतवेण्डी गांव में हुई मुठभेड़ के दौरान क्रॉस फायरिंग में एक दुधमुंही बच्ची की मौत हो गई थी। छह माह की मंगली की मौत किसकी गोली से हुई सहित अपनी 6 सूत्रीय मांगों को लेकर मूलवासी मंच के नेतृत्व में सैकड़ों ग्रामीण 17 जनवरी को जिला मुख्यालय के लिए निकले थे, लेकिन पुलिस ने उन्हें बीच में ही रोककर ग्राम गोरना में प्रशासन के अधिकारी ने ज्ञापन लिया। इस घटना में मृत बच्ची की मां मासे सोढ़ी के साथ ही ग्रामीणों का कहना था कि घटना के वक्त गांव में नक्सलियों की मौजूदगी नहीं थी। पुलिस ने एकतरफा गोलीबारी कर रही थी, पुलिस के इसी गोलीबारी में दुधमुंही बच्ची की मौत हो गई थी।
वहीं इस मामले पर एक जनवरी 2024 को पुलिस ने एक प्रेस नोट जारी कर जानकारी दी थी कि गंगालूर थानाक्षेत्र के मुदवेंडी गांव में एरिया डॉमिनेशन के लिए सुरक्षाबल के जवान निकले हुए थे। इसी दौरान आईईडी विस्फोट के कारण 2 जवान जख्मी हो गए थे। इसके बाद गांव में ही पुलिस और नक्सलियों के बीच एनकाउंटर हुआ था। इस एनकाउंटर में क्रॉस फायरिंग में एक दुधमुंही बच्ची की मौत हो गई थी, जबकि उसकी मां इस घटना में जख्मी हो गई थी। वहीं नक्सलियों ने पुलिस के इन दावों का खण्डन करते हुए प्रेस नोट जारी कर पुलिस पर गांव में घुसकर अंधाधुंध फायरिंग कर 6 माह की मंगली सोढ़ी की हत्या और उसकी मां को जख्मी करने का आरोप लगाया था।