बीजापुर में वनरक्षक भर्ती प्रक्रिया सूर्यास्त के बाद भी रहा चलता, अभ्यार्थियो ने लगाया गड़बड़ी का आरोप
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00 पत्रकारों को भी रोका गया कवरेज करने से, आईटीआर उपनिदेशक बलगा ने कहा जो लिखना है लिख लो हम देख लेंगे
बीजापुर। छत्तीसगढ़ में वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग के अंतर्गत विभिन्न मंडलो में 1484 रिक्त पदों पर शारीरिक, नापजोख एवं दक्षता के तहत वनरक्षकों की भर्ती के प्रक्रिया शुरु हो गई है। इसी के तहत बीजापुर जिले में भी 70 पदों के लिए शनिवार को सुबह 6 बजे से ज्ञान गुड़ी (एजुकेशन सिटी) में भर्ती प्रक्रिया देर रात चलती रही। जबकि जो नोटिफिकेशन जारी किया गया था उसमें साफ तौर पर लिखा गया था कि सूर्यास्त के मध्य पर्याप्त रौशनी की व्यवस्था में कराया जाएगा। रात्रि तथा कृत्रिम प्रकाश में यह परीक्षा नहीं कराई जाएगी।
इस भर्ती प्रक्रिया में गडबड़ी का आरोप अभ्यर्थियों द्वारा लगाया जा रहा है। उनका कहना हैं कि जब साफ़तौर पर भर्ती प्रक्रिया आदेश में यह लिखा गया है कि शारीरिक दक्षता सूर्यास्त के बाद नही किया जाएगा लेकिन बीजापुर में देर रात तक यह प्रक्रिया चलती रही। यह प्रक्रिया किसके आदेश पर चला यह सबसे बड़ा सवाल है। खबरों की सत्यता को जानने जब पत्रकारों की टीम पहुंची तो उन्हें भर्ती प्रक्रिया स्थल में जाने से रोका गया। भर्ती प्रक्रिया पर सवाल करने पर आईटीआर उपनिदेशक संदीप बलगा ने कहा जो लिखना है लिख लो हम देख लेंगे। पत्रकारो को मामले की जानकारी लेने से रोकने के पीछे की वजह क्या है ये बड़ा प्रश्न है?
भर्ती प्रक्रिया में शामिल महिला अभ्यर्थियों ने बताया कि उनका फिजिकल टेस्ट लगभग रात 9:30 तक लिया गया जबकि पुरुष अभ्यर्थीयो ने जानकारी दी कि उनका टेस्ट लगभग देर रात 12:30 बजे तक चलता रहा। जिले में हुई इस भर्ती प्रक्रिया से परिजन भी रातभर परेशान होते रहे। वे सुबह से अपने बच्चों को लेकर यहां आए हुए थे और देर रात तक यहां प्रक्रिया चलते रही, किसके कहने पर यहां प्रक्रिया चल रही थी यह वह जानना चाह रहे है।
इस संबंध में विधायक विक्रम मंडावी ने राज्य सरकार से मांग करते कहा कि रात्रि में हुए इस भर्ती प्रक्रिया को निरस्त किया जाए। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि राज्य सरकार अपने घोषणा पत्र के अनुसार स्थानीय बेरोजगार युवकों को भर्ती प्रक्रिया में प्राथमिकता दें ताकि वे बेरोजगार से रोजगार प्राप्त कर सकें।