33 नक्सलियों के हथियार छोड़ने पर मुख्यमंत्री साय ने जताई खुशी
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*कहा – उनके पुनरुत्थान के लिए तत्पर है हमारी सरकार*
रायपुर। माओवादियों की विचारधारा से क्षुब्ध होकर और छत्तीसगढ़ सरकार की आत्मसमर्पण एवं पुनर्वास नीति से प्रभावित होकर लगातार नक्सली बंदूक छोड़कर समाज की मुख्य धारा में लौट रहे हैं। बीजापुर जिले में 33 नक्सलियों द्वारा आत्मसमर्पण किए जाने पर मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने खुशी जताई है। उन्होंने आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों के पुनरुत्थान के लिए कार्य करने की बात कही है।
माओवादियों की विचारधारा से क्षुब्ध होकर और छत्तीसगढ़ सरकार की आत्मसमर्पण एवं पुनर्वास नीति से प्रभावित होकर बीजापुर जिले के 33 माओवादियों का पुलिस के समक्ष आत्मसमर्पण किया जाना अत्यंत ही सुखद है। इनमें से 3 माओवादी 5-5 लाख के ईनामी हैं।
बंदूक छोड़कर समाज की मुख्य धारा में लौटे…
— Vishnu Deo Sai (Modi Ka Parivar) (@vishnudsai) May 25, 2024
अपने सोशल मीडिया हैंडल *X* पर उन्होंने लिखा है कि – *माओवादियों की विचारधारा से क्षुब्ध होकर और छत्तीसगढ़ सरकार की आत्मसमर्पण एवं पुनर्वास नीति से प्रभावित होकर बीजापुर जिले के 33 माओवादियों का पुलिस के समक्ष आत्मसमर्पण किया जाना अत्यंत ही सुखद है। इनमें से 3 माओवादी 5-5 लाख के ईनामी हैं।*
*बंदूक छोड़कर समाज की मुख्य धारा में लौटे इन माओवादियों का स्वागत है। हमारी सरकार इनके पुनरुत्थान के लिए तत्पर है।*
*इस महत्वपूर्ण कामयाबी के लिए पुलिस और सुरक्षाबलों को बहुत-बहुत बधाई।*
गौरतलब है कि आदिवासी क्षेत्रों में विकास के लिए विष्णु सरकार ने “नियद नेल्लानार योजना” मतलब “आपका अच्छा गांव” योजना की शुरुआत की है। जिससे कि गांव में सारी मूलभूत सुविधाएं सरकार उपलब्ध करा रही है। नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में सुरक्षा कैंप खोले जा रहे हैं, जो ग्रामीणों के लिए सहायता कैंप की तरह काम कर रही है। इसके साथ ही सरकार की आत्मसमर्पण और पुनर्वास नीति से भी नक्सली प्रभावित होकर बंदूक छोड़ रहे हैं। बता दें कि आत्मसमर्पण करने वाले तैंतीस नक्सलियों में 3 नक्सली पांच-पांच लाख के इनामी थे। 2024 में अब तक 189 नक्सली गिरफ्तार हुए हैं। वहीं 109 नक्सली आत्मसमर्पण कर चुके हैं।