जून 2023 तक अरपा नदी के निर्माणाधीन दोनों बैराज का पूर्ण होने का हैं लक्ष्य – चौबे

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रायपुर। विधानसभा में सोमवार को बिलासपुर में अरपा नदी के निर्माणाधीन शिवघाट एवं पचरीघाट बैराज का मामला उठा। विधायक शैलेश पांडे ने मामला उठाते हुए हुए कृषि मंत्री से सवाल किया कि बिलासपुर स्थित अरपा नदी में निर्माणाधीन बैराज में विलंब का क्या कारण है? इसके निर्माण की समय सीमा शासन द्वारा क्या निर्धारित की गई है? ठेकेदार संस्था को कितनी राशि का भुगतान किया जा चुका है?
जवाब में कृषि मंत्री रविन्द्र चौबे ने बताया कि बिलासपुर स्थित अरपा नदी में दो बैराज शिवघाट एवं पचरीघाट निर्माणाधीन है। दोनों बैराज के निर्माण हेतु 13 जनवरी 2021 को कार्यादेश जारी किया गया है। दोनों योजना के अंतर्गत सीपेज को रोकने हेतु ओपन आर.सी.सी. कटऑफ वॉल का प्रावधान किया गया था। खुदाई के दौरान रेत के धसकने एवं रेतीली सतह से पानी का अत्यधिक रिसाव होने के कारण ओपन कटऑफ की खुदाई संभव नहीं होने के कारण अपरिहार्य एवं एकमात्र विकल्प डायफ्राम वॉल के निर्माण का निर्णय लिया गया। डायफ्राम वॉल निर्माण की प्रक्रिया जटिल होने के कारण नदी की पूरी लंबाई में अपस्ट्रीम एवं डाऊनस्ट्रीम में डायफ्राम वॉल के निर्माण में काफी समय लगा, साथ ही कोरोना महामारी के द्वितीय लहर के दौरान मजदूरों की कमी के कारण कार्य की गति धीमी रही। दोनों योजनाओं का निर्माण कार्य को पूर्ण करने हेतु जून 2023 का लक्ष्य रखा गया है। ठेकेदार को शिवघाट में रू. 3072.29 लाख एवं पचरीघाट बैराज में रू. 2629.81 लाख का भुगतान किया जा चुका है।